क्या कोरोना वायरस कभी खत्म होगा? टॉप ब्रिटिश साइंटिस्ट ने दिया ये जवाब
कोरोना वायरस महामारी (Coronavirus Pandemic) ने लाखों जानें ले लीं हैं और पूरी दुनिया की स्वास्थ्य सेवाओं को पंगु बना दिया है. दुनिया के केवल तीन देश संयुक्त राज्य अमेरिका, भारत और ब्राजील में कुल जमा जितने COVID-19 के मामले दर्ज हुए हैं, वे पूरी दुनिया के मामलों की संख्या के आधे हैं. यानी दुनिया के 4 करोड़ मामलों में से आधे सिर्फ 3 देशों में हैं.
इस घातक वायरस को फैलने से रोकने के लिए कोई वैक्सीन अब तक मिली नहीं है और ऐसे में दुनिया भर के वैज्ञानिक इस संक्रमण के फैलने की दर को धीमा करने का कोई तरीका पाने की पुरजोर कोशिश कर रहे हैं.
कई देशों में आई कोरोना की दूसरी लहर - ऐसे मुश्किल हालातों के बीच यूरोप में कोरोना वायरस की दूसरी लहर आ गई है, जिसके चलते ब्रिटेन, फ्रांस और स्पेन के कुछ हिस्सों में लॉकडाउन करना पड़ रहा है. इतना ही नहीं अमेरिका में तो हर रोज दर्ज हो रहे मामलों की संख्या गर्मियों के मौसम के उन आंकड़ों को छू रही है, जब यहां कोरोना संक्रमण अपने चरम पर था | संकट के ऐसे समय में जब लोग विभिन्न चिकित्सा उपायों के जरिए इसके खत्म होने की उम्मीद कर रहे हैं, तभी ब्रिटिश के टॉप साइंटिस्ट की इससे बिल्कुल अलग राय सामने आई है.
कोरोना के खत्म होने की संभावना नहीं के बराबर - ब्रिटेन की साइंटिफिक एडवाइजरी ग्रुप फॉर इमर्जेंसीज (SAGE) के एक सदस्य जॉन एडमंड्स (John Edmunds) का मानना है कि यह वायरस 'कभी भी पूरी तरह से खत्म नहीं होगा'. इस वैज्ञानिक ने दावा किया है कि वायरस के गायब होने या खत्म हो जाने की बहुत कम संभावना है. बल्कि उन्होंने तो यहां तक कह दिया है कि पूरी मानव प्रजाति को हमेशा कोविड-19 के साथ रहना पड़ सकता है.
उन्होंने कहा, 'हम हमेशा के लिए इस वायरस के साथ रहने जा रहे हैं. इस बात की बहुत कम संभावना है कि यह खत्म होगा. यदि हम वैक्सीन को बनाने के बहुत करीब हैं, तो मेरे विचार में हमें पूरी कोशिश करनी चाहिए कि संक्रमण को जितना कम कर सकें, करें.'
ब्रिटेन का उल्लेख किए जाने पर उन्होंने कहा कि देश ने संभावित टीकों में निवेश करके एक 'अच्छा फैसला' किया है. अब तक यह देश 6 विभिन्न वैक्सीन निर्माताओं के साथ समझौते कर चुका है, इसका मतलब है कि देश ने अपने लिए वैक्सीन की 340 मिलियन यानी 34 करोड़ डोज सुरक्षित कर लिए हैं.